ऋषिकेश (एजेंसी)। धर्मूचक मारखमग्रांट में एक फर्जी अधिकारी पकड़े जाने का मामला सामने आया है। यह फर्जी अधिकारी वॉकी टॉकी लेकर ग्रामीण क्षेत्रों में मीट की दुकानों में वसूली करने पहुंचा था। ग्रामीणों ने शक होने पर उसे पकड़कर एसडीएम के हवाले कर दिया। सोमवार को धर्मूचक मारखमग्रांट के ग्रामीणों ने एक फर्जी अधिकारी को पकड़कर एसडीएम अपर्णा ढौंडियाल को सौंपा।
ग्रामीणों ने आरोप लगाया कि केशवपुरी डोईवाला ग्रामीण क्षेत्र निवासी व्यक्ति धर्मूचक मारखमग्रांट प्रथम में मीट की दुकान में चेकिंग कर रहा था। पूछे जाने में उसने बताया कि वह नगर पालिका का अधिकारी है और उसको उपजिलाधिकारी ने चेकिंग के लिए भेजा है। वह चेकिंग के दौरान 500-1000 रुपये की वसूली कर रहा था।
ग्रामीणों को शक हुआ कि धर्मूचक मारखमग्रांट का इलाका तो ग्राम सभा में आता है, ऐसे में एसडीएम ने नगर पालिका के अधिकारी को यहां क्यों भेजा होगा। इसके बाद शक के आधार पर ग्रामीणों रोहित कुमार, अभिषेक, सन्नी कुमार, अनुज कुमार, संदीप कुमार आदि ने इस फर्जी अधिकारी को पकड़ कर एसडीएम डोईवाला को सौंपा और ज्ञापन देकर उसके खिलाफ कार्रवाई की मांग की। सामाजिक कार्यकर्ता सन्नी कुमार ने बताया कि फर्जी अधिकारी के पास दो वॉकी टॉकी भी थे।
सूत्रों ने बताया कि पकड़ा गया फर्जी अधिकारी सत्संग भवन में सेवादार भी है। वह वॉकी टॉकी वहीं से लाया। एसडीएम अपर्णा ढौंडियाल ने बताया कि उन्होंने किसी को चेकिंग के लिए नहीं भेजा था। इस प्रकरण की जांच के आदेश दे दिए गए हैं। अगर यह व्यक्ति गलत पाया गया, तो कार्रवाई की जायेगी।
नगर पालिका अधिशासी अधिकारी उत्तम सिंह नेगी ने बताया कि फर्जी अधिकारी बन कर घूम रहा शख्स नगर पालिका में आउट सोर्स कर्मचारी था। वह बीते कुछ दिन से कार्य पर नहीं आ रहा था। आउटसोर्स कंपनी को यह बता दिया गया था कि इसको अब नगर पालिका डोईवाला न भेजा जाए। इसको नगर पालिका डोईवाला से हटा दिया गया है।